इरेक्टाइल डिस्फंक्शन क्या है यह कितने तरीके का होता है आज गारंटीड आप इस पोस्ट से बहुत अच्छे से समझ जाएंगे और दूसरों को भी बता पाएंगे पुरुषों की सबसे गंभीर प्रॉब्लम के बारे में और सबसे आम समस्या के बारे में और अगर आप इस प्रॉब्लम को फेस कर रहे हैं या फिर सेक्स रिलेटेड कोई आपका इशू है तो आप जुड़ सकते हैं नवजीवन क्लीनिक से और सही ट्रीटमेंट आप यहां से ले सकते हैं चलिए अब जानते हैं सबसे पहले इरेक्टाइल डिस्फंक्शन के बारे में इरेक्टाइल डिस्फंक्शन क्या है इरेक्टाइल डिस्फंक्शन एक ऐसी प्रॉब्लम है जब कोई पुरुष इंटिमेसी के दौरान अपने प्राइवेट पार्ट में इनफ इरेक्शन लाने में नहीं कैपेबल हो पाता या फिर अगर इरेक्शन आ भी जाता है तो उसे बरक नहीं रख पाता यह समस्या पहले तो 40 साल के बाद ही देखने को मिलती थी लेकिन आजकल जो प्रॉब्लम है वोह 25 साल 26 साल 28 साल 30 साल के नौजवान पुरुषों में भी देखने को मिलती है और अगर आपने इस दौरान वेट कोटोन किया है तो आपके कोलेस्ट्रॉल लेवल हाई और डायबिटीज होने की चांसेस भी जो है वो बढ़ जाते हैं
इसकी संभावनाएं बढ़ जाती है जिसके कारण भी कई बार लोगों को ये प्रॉब्लम्स हो जाती हैं यौन संबंध बनाते समय इरेक्शन ना होने की वजह से पेनिट्रेशन में दिक्कत आने की समस्या को इरेक्टाइल डिस्फंक्शन कहा जाता है इसको हिंदी में स्तंभन दोष या फिर नपुंसकता भी लोग कहते हैं जब एक पुरुष सेक्सुअली अराउस होता है तो उसे इरेक्शन महसूस होता है उसके बाद उसका जो दिमाग यानी उसका ब्रेन उसके प्राइवेट पार्ट की नसों में ब्लड सर्कुलेशन को बढ़ाने का सिग्नल भेजता है इसे इरेक्शन कहा जाता है और कुछ पुरुषों को सेक्स के दौरान इरेक्शन बिल्कुल भी नहीं आता जिसको रेक्टल डिस्फंक्शन कहा जाता है और अगर कुछ मामलों में आ भी जाता है तो वो इरेक्शन को अपने बरकरार नहीं रख पाते इरेक्शन उनका कुछ सेकंड्स के अंदर ही खत्म हो जाता है या फिर ये कहे कि कई बार जो है उन्हें पीनस अपना ढीला ढीला महसूस होता है अब कितने टाइप का होता है इरेक्टाइल डिस्फंक्शन ये भी जानना जरूरी है क्योंकि इसके अलग-अलग टाइप हो होते हैं जो लोगों को नहीं पता होते पहला है ऑर्गेनिक इरेक्टाइल डिस्फंक्शन इस प्रकार की ईडी के फिजिकल कारण होते हैं इस सिचुएशन में होता है ये जब आपका ब्लड सर्कुलेशन नर्व फंक्शन पीनस के स्ट्रक्चर को इफेक्ट करता है ऑर्गेनिक ईडी के सामान्य कारणों में हार्ट रिलेटेड प्रॉब्लम्स होते हैं डायबिटीज की प्रॉब्लम्स होती है नर्व सिस्टम प्रॉब्लम्स होते हैं
इरेक्टाइल डिसफंक्शन क्या है इसका निदान कैसे करे
हार्मोन इंबैलेंस की प्रॉब्लम्स होती है या फिर आपकी लिंग की ऐसा मानता है और पेल्विक चोट और सर्जरी इसमें शामिल होती है यह भी एक कारण होता है दूसरा है साइकोलॉजिकल इरेक्टाइल डिस्फंक्शन यह मेंटली होता है यह आपको साइकोलॉजिकल प्रॉब्लम के कारण होता है यह स्ट्रेस होना चिंताएं होना डिप्रेशन होना रिलेशनशिप रिलेटेड प्रॉब्लम्स होना या फिर परफॉर्मेंस की टेंशन होना इस प्रकार की डी यूजुअली शारीरिक समस्याओं से रिलेटेड नहीं होती बल्कि आपके मेंटल और इमोशनल कारणों से रिलेटेड होती है जिसके कारण भी इरेक्टाइल डिस्फंक्शन लोगों को होता है नेक्स्ट है मिक्स इरेक्टाइल डिस्फंक्शन कभी-कभी फिजिकल और साइकोलॉजिकल दोनों ही कारण होते हैं आपके इरेक्टाइल डिस्फंक्शन की प्रॉब्लम के लिए इसे मिक्स सीडी के रूप में जा जाना जाता है यानी कि इसको मिक्स इरेक्टाइल डिस्फंक्शन कहा जाता है और इसमें दोनों पहलू को समझकर ही इलाज किया जाता है
इरेक्टाइल डिस्फंक्शन का इलाज
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1.दवाइयाँ: कुछ दवाइयाँ इरेक्टाइल डिस्फंक्शन के इलाज में प्रभावी होती हैं, जैसे सिल्डेनाफिल (वियाग्रा), टैडालाफिल (सियालिस), वार्डेनाफिल (लेवित्रा)। इन दवाओं को डॉक्टर की सलाह पर ही लेना चाहिए।
2.थकावट का समाधान: यदि इरेक्टाइल डिस्फंक्शन में मानसिक या तनाव का कारण हो, तो योग, ध्यान, या अन्य तंत्रिका विधियाँ सहायक हो सकती हैं।
3.चिकित्सा उपचार: कई बार इरेक्टाइल डिस्फंक्शन के पीछे शारीरिक समस्याएँ होती हैं जैसे कि डायबिटीज, अधिक वजन, हृदय रोग, या हार्मोनल असंतुलन। इन समस्याओं का समाधान करने से इरेक्टाइल डिस्फंक्शन में सुधार हो सकता है।
4.चिकित्सा विशेषज्ञ की सलाह: डॉक्टर से परामर्श लेना बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि वे आपकी समस्या के कारण को ठीक से समझ सकते हैं और सटीक इलाज सुझा सकते हैं।
5.चिकित्सा उपकरण: कुछ मामलों में, पेनाइल इंजेक्शन, पेनाइल प्रोस्थेसिस, या वाक्यूम पम्प की सहायता से भी इलाज किया जा सकता है।
अगला जो इरेक्टाइल डिस्फंक्शन है वो होता है स्पेशली कुछ दवाइयों की वजह से कुछ दवाइयों के जो हार्मफुल साइड इफेक्ट्स होते हैं वो भी आपकी ईडी के प्रॉब्लम को बढ़ा देते हैं इस तरह की दवाई लेने से पहले आपको जानना जरूरी है कि कहीं ये आपको इरेक्टल डिस्फंक्शन की समस्या ना दे कुछ दवाइयों का मैं नाम लूंगी जैसे कि एंटी हाइपरटेंसिव एंटी डिस्पेंस एंटीसाइकोटिक्स और ऐसी कुछ और दवाइयां हैं जिनकी वजह से भी काफी लोगों को इस प्रॉब्लम का सामना करना पड़ा है अगला है लाइफ स्टाइल रिलेटेड रेक्टल डिसफंक्शन अनहेल्दी अगर आपका लाइफस्टाइल है इसका कारण बीडी बन सकता है धूम्रपान बहुत ज्यादा करते हैं स्मोक करते हैं यानी कि आप शराब बहुत ज्यादा लेते हैं नशीली दवाइयों का यूज करते हैं मोटापा बहुत ज्यादा हो गया एकदम से फिजिकल एक्टिविटी बिल्कुल जीरो है तो भी एक कारण बन सकता है अगला है वैस्कुलर इरेक्टाइल डिस्फंक्शन ये ब्लड वेसल से जुड़ी प्रॉब्लम से होता है जैसे कि थ्रो स्क्लेरोसिस यानी कि धमनियों का सिकना और आपकी पीनस में जो है ब्लड सर्कुलेशन का कम होना इसको मस्कुलर ईडी के नाम से जाना जाता है तो यह है ईडी के टाइप्स जो ज्यादातर लोगों को नहीं पता होते आई होप आज आपको पता चल गए होंगे